राजस्थान में पेपर लीक मामले को लेकर कांग्रेस सरकार लगातार घिरती हुी नजर आ रही है. शिक्षक भर्ती का पेपर लीक होने के बाद से ही युवा आक्रोश में नजर आ रहे हैं. इस मुद्दे पर विपक्ष भी चुप नहीं बैठा. युवाओं के साथ मिलकर विपक्ष लगातार कांग्रेस को टारगेट कर रहा है. राजस्थान में कांग्रेस के पिछल डेढ़ साल के कार्यकाल में भ्रष्टाचार चरम सीमा पर पहुंच गया है. बीते समय में सरकार ने तकरीबन 1.30 करोड़ युवाओं से करीब 400 करोड़ रूपए वूसलने का काम किया है. राजस्थान लोक सेवा आयोग और कर्मचारी चयन बोर्ड ने आवेदन फीस के तौर पर यह मोटी रकम वसूली है.
युवा एकीकृत महासंघ ने उठाई CBI जांच की मांग..
जिसके बाद पेपर लीक हो जाने से सरकार इन परिक्षाओं को कराने में असफल रही है. राजस्थान सरकार की दोनों बड़ी एजेंसिया विवादों में आ गई है और इस मामले को लेकर प्रदेश के युवाओं का गुस्सा बढ़ता ही जा रहा है. इस मामले में हर कोई बयानबाजी कर रहा है और विपक्ष के कुछ नेता सख्त से सख्त कार्यवाही की मांग भी उठा रहे हैं. इतना ही नहीं युवा एकीकृत महासंघ भी इस मुद्दे में एंट्री कर चुका है.
संघ का कहना है कि प्रदेश की ज्यादातक भर्ती परिक्षाओं में धांधलेबाजी करके उसका पेपर लीक किया गया है. सेकंड ग्रेड टीचर भर्ती परीक्षा का पेपर लीक होने के बाद युवाओं ने परीक्षा को निरस्त करने की मांग उठाई है. संघ की यह भी मांग है कि पूरे मामले की सीबीआई जांच होनी चाहिए और दोषी लोगों के खिलाफ सख्त एक्शन लेते हुए उनके घरों पर बुलडोजर चलने चाहिए. इसी के साथ-साथ संघ ने रीट पेपर लीक मामले में गठित व्यास कमेटी की रिपोर्ट सार्वजनिक करने की मांग भी की है.