पिछले दिनों PM MODI राजस्थान के दौरे पर थे, जहां पर वह मुंबई एक्सप्रेसवे की सोगात देने राजस्थान में आये हुए थे। लेकिन यहां एक विवाद भी सामने आया है जो कि, इस समय काफी तूल पकड़ते हुए नजर आ रहा है।
प्रोटोकॉल का किया गया पालन
आपको बता दें कि, इस कार्यकर्म से जुडा एक पोस्टर का फोटो इस समय लोगों की भी चर्चाओं का विषय बना हुआ है। इसमें कई नेताओं के फोटो लगे हुए थे, वहीं किरोड़ीमल मीणा को इस फोटो में जगह नहीं मिली थी, इसके बाद अलग-अलग रूप से सियासी चर्चाएं शुरू हो गई और कई लोग इसे अलग-अलग नजरिए से भी देखने लगे थे।
इस पोस्टर में राजस्थान से वसुंधरा राजे, सतीश पुनिया, गुलाबचंद कटारिया भी शामिल थे, लेकिन इसमें किरोड़ीमल को शामिल नहीं किया गया था। कई लोग इसे पुनिया से तकरार की वजह बता रहे हैं तो वहीं कई जसकौर मीणा और किरोड़ी की अदावत का असर बता रहे हैं। पोस्टर में प्रदेश स्तर के नेताओं में बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया को जगह मिली थी, जिसके बाद अलग-अलग कयास भी लगाए गए। लेकिन हम आपको इसकी सच्चाई बता रहे हैं कि बीजेपी द्वारा ऐसा क्यों किया गया है।
बता दे की, यह कार्यक्रम PM MODI का था, जिसमें सड़क और परिवहन मंत्रालय की ओर से इस कार्यक्रम को आयोजित किया जाना था, जिसके तहत कुछ प्रोटोकॉल भी होते हैं और इस प्रोटोकॉल में यह तय होता है कि, जो प्रदेश स्तर का कार्यक्रम होता है। उसमें किसी नेता को पोस्टर में जगह मिलेगी और किस नेता को पोस्टर में जगह नहीं मिलेगी।
क्योंकि किरोड़ीमल मीणा आज राज्यसभा सांसद है और प्रदेश बीजेपी राष्ट्रीय संगठन में उनको कोई पद नहीं मिला हुआ है। ऐसे में प्रोटोकॉल के अंतर्गत यहां आता है कि, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष के नाते वसुंधरा राजे, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष के नाते सतीश पूनिया और नेता प्रतिपक्ष के रूप में गुलाब चंद कटारिया को इस में जगह दी गई और किरोड़ीमल मीणा को इस में जगह नहीं मिली।