Sukanya Samriddhi Yojana: बेटियों के उज्ज्वल भविष्य के लिए बेस्ट है ये सरकारी निवेश योजना, जानें आवेदन प्रक्रिया और फायदें

    क्या आप उठा सकते हैं Sukanya Samriddhi Yojana का लाभ

    बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना  के अंतर्गत शुरू की गई सुकन्‍या समृद्धि जन्म से लेकर 10 वर्ष की उम्र की कन्याओं के उज्ज्वल भविष्य को सवांरने और सुरक्षित रखने की एक पहल है. इस योजना का लाभ हिंदू अविभाजित परिवार (HUF) एवं अनिवासी भारतीय (एन आर आई) नहीं प्राप्त कर सकते हैं | यदि खाता ओपन करने के पश्चात कोई बच्ची एन आर आई बन जाती है तो उसे सुकन्या समृद्धि का खाता बंद करना होगा | यदि खाता बंद नहीं किया जाता है तो एन आर आई बनने के पश्चात इस खाते में किसी प्रकार का ब्याज प्रदान नहीं किया जाएगा |

    Post Small Saving Schemes in India, Know Sukanya Samriddhi Yojana For Women
    Post Small Saving Schemes in India, Know Sukanya Samriddhi Yojana For Women

    क्या है सुकन्या समृद्धि योजना

    सुकन्‍या समृद्धि भारत की एक छोटी बचत योजना है, जिसकी शुरुआत ‘बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ’ अभियान के तहत की गयी | जिसके अंतर्गत माता-पिता या कानूनी अभिभावक कन्या के नाम से खाता खोल सकते हैं इस योजना के अंतर्गत खाता खुलवाने के लिए बच्ची की आयु सीमा 10 वर्ष से कम होनी चाहिए । यह खाता किसी भी डाकखाने और निर्धारित सरकारी बैंकों में खोला जा सकता है।

     

    आवश्यक डाक्यूमेंट्स 

    बालिकाका जन्म प्रमाण पत्र (खाता लाभार्थी)। जमाकर्ता(माता-पिता या कानूनी अभिभावक), यानी पैन कार्ड, राशन कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट का पहचान प्रमाण। जमाकर्ता(माता-पिता या कानूनी अभिभावक), यानी पासपोर्ट, राशन कार्ड, बिजली बिल, टेलीफोनबिल, ड्राइविंग लाइसेंस का पता प्रमाण।

     

    सुकन्या समृद्धि में ऑनलाइन लेन-देन

    IPPB ऐप और बैंक पोर्टल के जरिए सुकन्या समृद्धि योजना में ऑनलाइन लेन-देन किया जा सकता है। IPPB ऐप और बैंक पोर्टल पर लॉग-इन के पश्‍चात आपको सुकन्या समृद्धि योजना अकाउंट को सलेक्ट करना होगा। अब आपको SSY अकाउंट नंबर और DOP कस्टमर आईडी एंटर करना होगा। तत्‍पश्‍चात अपनी किस्त की अवधि और अमाउंट को सलेक्ट करें। पेमेंट सक्सेफुल होने के बाद, IPPB / बैंक द्वारा नोटिफिकेशन के जरिए भी जानकारी भेजी जाती है।

    Post Small Saving Schemes in India, Know Sukanya Samriddhi Yojana For Women
    Post Small Saving Schemes in India, Know Sukanya Samriddhi Yojana For Women

     

    सुकन्या समृद्धि योजना में बदले गए नए नियम

    आइये जान लेते है सुकन्या समृद्धि योजना में साल 2023 में किस तरह के बदलाव किये गए है, सुकन्या समृद्धि योजना में 2023 में किये गए बदलाव नीचे दिए गए है –

    1 . सुकन्या समृद्धि योजना में सिर्फ दो बेटियां ही खाता खुलवा सकती हैं, लेकिन अगर तीसरी बेटी है तो अब उसे भी आयकर संहिता की धारा 80सी के तहत लाभ मिल सकता है। हालाँकि, अभी तक, तीसरी बेटी को ये लाभ नहीं मिल रहे हैं। लेकिन अब एक नए बदलाव के मुताबिक वह भी 80सी के तहत लाभ की भागीदार होंगी.

    2 . सुकन्या योजना में, आपको अपनी परिपक्वता राशि पर ब्याज प्राप्त करने के लिए प्रत्येक वर्ष कम से कम 250 रुपये जमा करने होते थे। हालांकि, हाल ही में किए गए परिवर्तनों का अर्थ है कि आपको अभी भी अपने खाते पर ब्याज मिलेगा, भले ही आप न्यूनतम राशि जमा न करें। दूसरे शब्दों में, आपको डिफॉल्टर घोषित नहीं किया जाएग.

    3 . अपने सुकन्या समृद्धि खाते को संचालित करने से पहले एक लड़की की उम्र कितनी होनी चाहिए, इस बारे में नियम बदल गया है, अब कोई भी लड़की 18 साल की होने पर अपना संचालित कर सकती है.

    4 . पहले, सुकन्या समृद्धि खाता समय से पहले तभी बंद किया जा सकता था जब किसी लड़की की समय से पहले मृत्यु हो जाती है, या यदि बेटी की विदेश में शादी हो जाती है (एक एनआरआई के रूप में)। लेकिन अब नियम बदल दिया गया है.और अन्य कारणों से खाता बंद किया जा सकता है, जैसे कि अगर बेटी को कोई खतरनाक बीमारी हो जाती है अन्य कारणों से सुकन्या समृद्धि कहते को बंद किया जा सकता है

    सुकन्या समृद्धि खाते पर ब्याज की गणना कैसे होती है?

    सुकन्या समृद्धि योजना में हर तिमाही पर भारत सरकार जी सेक यील्ड के हिसाब से ब्याज दर तय करती है |

    SSY में अब तक दिया गया ब्याज :-

    अप्रैल 1, 2014: 9.1%
    अप्रैल 1, 2015: 9.2%
    अप्रैल 1, 2016 – जून 30, 2016: 8.6%
    जुलाई 1, 2016 – सितम्बर 30, 2016: 8.6%
    अक्टूबर 1, 2016 – दिसम्बर 31, 2016: 8.5%
    जुलाई 1, 2017 – दिसंबर 31, 2017: 8.3%
    जनवरी 1, 2018 – मार्च 31, 2018: 8.1%
    अप्रैल 1, 2018 – जून 30, 2018: 8.1%
    जुलाई 1, 2018 – सितंबर 30, 2018: 8.1%
    अक्टूबर 1, 2018 – दिसंबर 31, 2018: 8.5%
    जनवरी 1, 2019 – जून 30, 2019: 8.5%
    जुलाई 1, 2019 – मार्च 31, 2020: 8.4%
    अप्रैल 30, 2020 – जून 30, 2020: 7.6%
    जुलाई 1, 2020 – सितम्बर 30, 2020 7.6
    अक्टूबर 1, 2020 – दिसंबर 31, 2020 7.6%
    जनवरी 1, 2021 – मार्च 31, 2021 7.6%
    अप्रैल 1, 2021 – जून 30, 2021 7.6%
    जुलाई 1, 2021 – सितम्बर 30, 2021 7.6%
    अक्टूबर 1, 2021 – दिसंबर 31, 2021 7.6%
    जनवरी 1, 2022 – मार्च 31, 2022 7.6%
    अप्रैल 1, 2022 – जून 30, 2022 7.6%
    जुलाई 1, 2022 – सितम्बर 30, 2022 7.6%
    अक्टूबर 1, 2022 – दिसंबर 31, 2022 7.6%
    जनवरी 1, 2023 – मार्च 31, 2023 7.6%
    अप्रैल 1, 2023 – जून 30, 2023 8%