राजस्थान की पहली महिला बॉडी बिल्डर प्रिया सिंह ने एक बार फिर राजस्थान का नाम विश्व पटल पर रोशन किया है. थाईलैंड के पटाया में आयोजित हुई 39वीं अंतर्राष्ट्रीय महिला बॉडी बिल्डिंग प्रतियोगिता में प्रिय सिंह ने गोल्ड मेडल जीता है. इससे पहले प्रिया साल 2018 2019 और 2020 में मिस राजस्थान का टाइटल अपने नाम कर चुकी हैं.
राजस्थान के बीकानेर की मूल रूप से रहने वाली प्रिया की शादी 8 साल की उम्र में ही कर दी गई थी. लेकिन परिवार खराब आर्थिक हालात के चलते प्रिया सिंह ने नौकरी की. प्रिया ने जिम में नौकरी के लिए आवेदन किया. जहां उन्हें उनकी पर्सनैलिटी की वजह से नौकरी मिल गई. इसके बाद दूसरों को देख प्रिया ने जिम में ट्रेनिंग ली और राजस्थान की पहली सफल महिला बॉडी बिल्डर बनी.
बता दें कि इंटरनेशनल गोल्ड मेडलिस्ट प्रिया दो बच्चों की मां भी है, प्रिया का कहना है कि एक महिला को बॉडी बनाने में एक आदमी के मुकाबले ज्यादा डाइट और मेहनत लगती है. उनकी इस सफलता के पीछे उनके परिवार ने साथ दिया. जिसकी वजह से वो आज सफल जिम ट्रेनर हैं.
दलित होने के चलते नहीं मिला सम्मान
दलित परिवार से आने वाली प्रिया की कहानी सुन कर भले सब गौरवनित महसूस करें लेकिन इतना बड़ा पदक जीतने के बाद भी प्रिया की अनदेखी का मामला सामने आया है. भीम आर्मी के चीफ चंद्र शेखर आजाद ने कहा कि इंटरनेशनल लेवल पर स्वर्ण पदक जीतने के बावजूद प्रिया सिंह को सरकार या खेल प्रेमियों की तरफ से वो मान सम्मान नहीं मिली, जिसकी ये हकदार हैं.