मनी लांड्रिंग मामले में ईडी की कस्टडी रिमांड पूरा होते ही बाहुबली मुख्तार अंसारी को न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया। कोर्ट ने उनकी न्यायिक अभिरक्षा को 10 जनवरी 2023 तक के लिए मंजूर किया है। इसके साथ ही बाहुबली को पूरी सुरक्षा के साथ बांदा जेल में शिफ्ट किए जाने का आदेश दिया है। मुख्तार अंसारी की सुनवाई एसीजीएम अट्ठारह की कोर्ट में हुई। सुनवाई के दौरान ईडी ने उन्हें कोर्ट में पेश किया था।
ईडी की तरफ से अधिवक्ता शिव मूर्ति वर्मा पेश हुए थे। सरकारी अधिवक्ता गुलाब चंद्र अग्रहरी ने न्यायिक अभिरक्षा में भेजे जाने का कोई विरोध नहीं किया। एसीजीएम अट्ठारह की कोर्ट ने कहा कि मामले की अगली सुनवाई पर संबंधित कोर्ट के समक्ष आरोपी को पेश किया जाए। इसके पहले बाहुबली मुख्तार अंसारी की ईडी कस्टडी रिमांड 28 जनवरी तक जिला जज की कोर्ट ने मंजूर की थी। आज जब समयावधि पूरी हुई तब उन्हें कोर्ट के समक्ष पेश किया गया।
अगली सुनवाई में आरोपी को संबंधित कोर्ट में किया जाए पेश
प्रवर्तन निदेशालय की ओर से अधिवक्ता शिव मूर्ति वर्मा पेश हुए थे और सरकारी अधिवक्ता गुलाब चंद्र अग्रहरी ने न्यायिक अभिरक्षा में भेजे जाने का कोई विरोध नहीं किया। मुख्तार अंसारी की सुनवाई एसीजीएम अट्ठारह की कोर्ट में हुई। सुनवाई के दौरान ईडी ने उन्हें कोर्ट में पेश किया था। एसीजीएम अट्ठारह की कोर्ट ने कहा कि मामले की अगली सुनवाई पर संबंधित कोर्ट के समक्ष आरोपी को पेश किया जाए। इसके पहले बाहुबली मुख्तार अंसारी की ईडी कस्टडी रिमांड 28 दिसंबर तक जिला जज की कोर्ट ने मंजूर की थी। आज समय अवधि पूरी होने के बाद उन्हें कोर्ट के समक्ष पेश किया गया।
मीडिया के सवाल पूछने पर मुख्तार बोले कुछ नहीं बोल सकते
प्रयागराज जिला कोर्ट में पेश होने से पहले नमस्कार करते समय कहा था कि कुछ नहीं बोलूंगा। जब मीडिया ने सवाल पूछा तो मुख्तार अंसारी ने कहा कि बोलने पर पाबंदी लगी हुई है, हम कुछ नहीं बोल सकते हैं, कुछ नहीं बोलेंगे, बोलने पर पाबंदी लगी हुई है। फिर जब सुनवाई के बाद कोर्ट से बाहर आए तो तेवर बदले हुए थे। कोर्ट ने बांदा जेल में शिफ्ट करने के लिए कहा था। जेल जाने से पहले शायरी के जरिए मुख्तार अंसारी ने योगी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि तूफान कर रहा था मेरे अज्म का तवाफ, दुनिया समझ रही थी कश्ती भंवर में है।